ऋषिकेश एक ऐसा अद्भुत शहर है जहाँ हर उम्र और हर तरह के पर्यटकों के लिए देखने और कई तरह की गतिविधियों में शामिल होने के लिए वास्तव में बहुत कुछ है। योग नगरी ऋषिकेश विश्व की योग राजधानी के तौर पर जाना जाता है, साथ ही उत्तराखंड के पवित्र तीर्थ स्थल चार धाम के प्रवेश द्वार के तौर पर भी ऋषिकेश जाना जाता है। यही नहीं ऋषिकेश उन पर्यटकों के लिए भी एक परफेक्ट डेस्टिनेशन है जो नदी किनारे या फिर पहाड़ो में प्रकृति की गोद में कैंपिंग करना चाहते हैं और यहाँ तक की सुकून लेने और इससे अलग कई तरह के एडवेंचर जैसे रिवर राफ्टिंग, बंजी जंपिंग आदि के लिए लिए भी ऋषिकेश से बढ़िया जगह कोई हो नहीं सकती। इसीलिए ऋषिकेश को सभी तरह के पर्यटकों के लिए एक कम्पलीट पैकेज कहना बिलकुल भी गलत नहीं होगा।
अब ऋषिकेश जाने का मन तो आपका भी हो ही गया होगा लेकिन आम तौर पर पर्यटक मानसून के समय ऋषिकेश या फिर उत्तराखंड के किसी भी पर्यटन स्थल पर जाने से कतराते हैं लेकिन आज हम आपको ऋषिकेश में मानसून के दौरान जाने के लिए कुछ अनसुने फायदे बताने वाले हैं जिसके बाद आपके मन में जो भी शंकाएं है मानसून को लेकर वो तो दूर हो ही जाएगी साथ ही आप ऋषिकेश इसी मानसून में जाने के बारे में जरूर सोचेंगे। तो चलिए शुरू करते हैं...
मानसून में अनेक खूबसूरत छिपे हुए झरनों का निकलना
मानसून में ऋषिकेश की एक अलग ही खूबसूरती निकल कर आती है। चारों ओर घनी हरियाली से ढ़की ऊँची-ऊँची पहाड़ियां और उनको छूकर जाते हुए मॉनसूनी बादलों के सुन्दर नज़ारों के साथ न जाने कितने मॉनसूनी झरने ऋषिकेश की पहाड़ियों में बहने लगते हैं। कुछ ऐसे झरने भी बारिश के खुशनुमा मौसम में कुदरत के इस उत्सव में शामिल होने के लिए निकल पड़ते हैं जो मानसून के अलावा किसी भी मौसम में आपको नहीं दिखने वाले।
मानसून के मौसम में कई तरह की जलधाराएं और झरनों के नीचे बने प्राकृतिक पूल में नहाने के आनंद का अनुभव आप जिंदगी भर नहीं भूलने वाले। इस मौसम में सबसे बेहतरीन झरनों की बात करें तो आप नीरगढ़ वॉटरफॉल, गरुड़चट्टी झरना, पटना वॉटरफॉल आदि झरनों का रुख जरूर कर सकते हैं।
होटल्स और रिसॉर्ट्स में आकर्षक डिस्काउंट्स
ऋषिकेश हो या फिर कोई भी अन्य लोकप्रिय पर्यटन स्थल, स्कूल और कॉलेज की छुट्टियां शुरू होते ही अप्रैल से लेकर जून तक का समय पर्यटकों का पीक सीजन रहता है। जुलाई की शुरुआत से ही पर्यटकों की संख्या ऋषिकेश में कम होने लगती है इसलिए आपको सभी होटल्स और रिसॉर्ट्स पर 30 से 60 % तक का डिस्काउंट मिल जायेगा और अगर मानसून में सितम्बर- अक्टूबर महीने की बात करें तो आपको अत्यधिक डिस्काउंट इन्हीं महीनो में मिल सकता है। इसके साथ ही कैंपिंग के लिए भी आपको काफी सारे विकल्प शानदार ऑफर में मिल जायेंगे।
अगर एक एक्सपर्ट टिप की बात करें तो चूँकि ऋषिकेश दिल्ली-एनसीआर के काफी करीब है इसीलिए होटल्स के बेस्ट डिस्काउंट ऑफर के लिए हो सके तो आप वीकेंड या हॉलीडेज छोड़कर प्लान बनायें और यकीन मानिये आप होटल्स की रेट सुनकर चौंक जायेंगे।
बिना भीड़ के सुकून से घूमने के लिए बेस्ट
ऋषिकेश एक ऐसा अद्भुत स्थान है जहाँ पुरे साल पर्यटकों की भीड़ बनी रहती है, खास तौर पर गर्मियों के मौसम में बहुत से पर्यटक पवित्र गंगा नदी के किनारे सुकून लेने ऋषिकेश पहुँचते हैं। इसीलिए कई बार पर्यटक ऋषिकेश जाते तो सुकून लेने हैं लेकिन पर्यटकों की भीड़ देखकर उनके अरमानो पर थोड़ा पानी तो फिर ही जाता है :)
लेकिन सभी सीजन में से मानसून सीजन में आपको पर्यटकों की काफी कम भीड़ मिलने वाली है और इसीलिए अगर आप अपने पार्टनर, फैमिली या फिर अकेले सोलो ट्रिप में भी सुकून की तलाश में ऋषिकेश जा रहे हैं तो मानसून का समय आपके लिए एकदम परफेक्ट है। इस सीजन में अनेकों अन्य फायदों के साथ आपको ऋषिकेश में भीड़ बेहद कम मिलने वाली हैं जिस वजह से आप वास्तव में शांति और सुकून से ऋषिकेश में घूम सकते हैं।
ऋषिकेश की अनदेखी खूबसूरती देखने के लिए बेस्ट
ऋषिकेश की खूबसूरती हर मौसम में अपना एक अलग ही रूप दिखाती है लेकिन अगर प्राकृतिक सुंदरता की बात करें तो मानसून से अच्छा समय ऋषिकेश की खूबसूरती देखने का हो ही नहीं सकता। तेज़ वेग से बहती माँ गंगा और नदी के दोनों ओर बेहद विशाल पर्वतमालाएं जो बारिश के मौसम की शुरुआत के साथ ही हरियाली की मोटी चादर ओढ़ लेती हैं और उन्ही पहाड़ियों को जब मॉनसूनी बादल बारिश के मौसम की मस्ती में झूमते हुए छूकर निकलते हैं तो ये पूरा नज़ारा वास्तव में एक बेहद शानदार दृश्य आपकी आँखों के सामने पेश करता है जो आपके मन में हमेशा के लिए सेव हो जाता है। तो अगर आप ऋषिकेश की इस अनदेखी और अनोखी खूबसूरती के गवाह बनना चाहते हैं तो जल्द से जल्द ऋषिकेश का प्लान बना लीजिये।
कांवड़ यात्रा के शानदार नज़ारे
हर साल सावन के खुशनुमा मौसम की शुरुआत के साथ ही कांवड़ यात्रा की शुरुआत होती है और सावन में शिवरात्रि को जल चढाने के साथ अन्य दिनों में भी भगवान शिव को गंगा जल अर्पित करने के लिए पुरे सावन महीने में कांवड़ यात्रा चलती है। चूँकि इस साल सावन का महीना भी 2 महीने का है इसलिए कांवड़ यात्रा भी 31 अगस्त तक चलने वाली है। इस दौरान आप अगर ऋषिकेश या हरिद्वार में रहते हैं तो हज़ारों कांवड़ यात्री आपको सड़कों पर गंगाजल के साथ कई तरह के सुन्दर कांवड़ के साथ यात्रा करते हुए मिल जायेंगे। कांवड़ियों की आस्था और जज्बे को देखना और इतने सुन्दर कांवड़ के साथ कई अन्य झांकियों और डीजे पर थिरकते हुए यत्रियों को देखने का अनुभव अपने आप में अद्भुत होता है।
पथरीले तटों पर तेज़ बहती गंगा के अद्भुत नज़ारे
ऋषिकेश में पवित्र गंगा नदी के दर्शनों के साथ नदी में डुबकी लगाकर सभी नकारात्मक ऊर्जाओं से मुक्ति पाने पाने के लिए तो हर कोई जाता ही है लेकिन इसके साथ ही अगर मानसून की बात करें तो ऐसे कई सारे बीच या तट ऋषिकेश में मौजूद हैं जहाँ आपको नदी किनारे असंख्य गोलाकार पत्थर मिल जायेंगे। बारिश के खूबसूरत मौसम में इन पत्थरों पर बैठकर तेज़ बहती गंगा नदी के नज़ारे और जल के तीव्र वेग के साथ इन बड़े-बड़े पत्थरों को चीरते हुए बढ़ने के दृश्यों का अनुभव आप हमेशा के लिए अपनी यादों में बसा लेंगे। इस मौसम में गंगा नदी उग्र रूप धारण कर लेती हैं और शहर की शांति और सुकून के बीच बैठकर इसे बहते हुए देखना एक अद्भुत आनंद का अनुभव आपको जरूर देगा।
अनेक खूबसूरत ट्रेक करने के लिए बेस्ट
जैसा की हम आपको पहले ही बता चुके हैं कि मानसून में अनेक झरने ऋषिकेश में जीवंत हो उठते हैं और इनकी खूबसूरती को बढ़ाने के लिए कई जलधाराएं भी बहने लगती हैं। अब ये खूबसूरत झरनों तक जाने के लिए जब आप ट्रेक करते हुए जाते हैं तो बीच में घनी हरियाली और सुकून भरे रास्तों से होकर आपको गुजरना होता है। इन रास्तों में अगर आपको कुछ सुनाई देता है तो वो पक्षियों के चहचहाने कि आवाज़ें और जलधाराओं के बहने की सुन्दर आवाज़ जिससे आप खुद को प्रकृति के बेहद करीब महसूस करने वाले हैं। जो कि वास्तव में वही अनुभव होता है जिसके लिए आप शहर की भीड़ भाड़ से दूर ऋषिकेश में सुकून लेने के लिए जाते हैं।
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