लद्दाख की खूबसूरत पैंगोंग झील, भारत की सबसे ऊंची, गहरी और लम्बी झील है। समुद्र तल से लगभग 14,000 फुट की ऊंचाई पर स्थित यह झील लगभग 5 किमी चौड़ी, 134 किमी लंबी और लगभग 328 फीट गहरी है।
लेह से लगभग 250 किमी दूर, भारत-चीन बॉर्डर पर स्थित इस झील का सिर्फ 40% हिस्सा ही भारत में आता है। दोनो ही देशों के लिए यह झील एक फेमस टूरिस्ट स्पॉट बन चुकी है।
पैंगोंग झील की दो बातें इसको खास बनाती है। एक तो इसकी सुंदरता और यहाँ की शान्ति। यहाँ बिताया हुआ समय हमेशा आपकी यादों में बस जायेगा। चारों तरफ पहाड़, पारदर्शी पानी, शीशे की तरह चमकती झील और सर्र-सर्र चलती हवा का शोर आपको मंत्रमुग्ध कर देगा।
दूसरे पैंगोंग झील की अनूठी विशेषता ये है की यह गिरगिट की तरह रंग बदलती है। कभी इसका रंग नीले से हरे रंग में बदल जाता है और कभी हरे रंग से बैंगनी रंग में। नमकीन पानी की इस झील पर जैसे-जैसे सूर्य की किरणे पड़ती है इसका पानी रंग बदलता रहता है।
इतनी खूबसूरत झील पर इसको लोकप्रियता मिली हिन्दी फिल्म '3 इडियट्स' से। इस फिल्म के आखिरी दृश्य में दिखाई गई इस झील की खूबसूरती ने लोगो को इतना आकर्षित किया कि इस फिल्म के साथ-साथ ये झील भी लोगों के बीच लोकप्रिय हो गई। यहाँ के करीब करीब सारे रेस्टोरेंट और कैफे में उपरोक्त फिल्म की झलक देखी जा सकती है।
प्राकृतिक खूबसूरती के कारण यह पर्यटकों की पसंदीदा जगह है। फ़ोटोग्राफ़रों की भी ये पसंदीदा जगह है। इस झील में बोटिंग करने की मनाही है।
यह स्थान पक्षी प्रेमियों के लिए भी विशेष है। कई प्रवासी पक्षियों जैसे काले गर्दन वाले क्रेन और सीगल देखने को मिलेंगे। बहुत सी बत्तखें भी झील के किनारे देखी जा सकती है। पैंगोंग झील का खारा पानी हर साल सर्दियों में प्रवासी पक्षियों को आकर्षित करता है। हर साल प्रवासी पक्षियों के आने से इस जगह की सुंदरता और बढ जाती है।
सर्दियों में यहां का तापमान शून्य के बहुत नीचे पहुंच जाता है। जिस वजह से यह झील जम जाती है और जिस पर जीप भी चलाई जा सकती है।
लेह से पैंगोंग झील तक पहुंचने के लिए लगभग पांच घंटे का सफर तय करना पड़ता है। झील तक जाने का रास्ता बेहद खूबसूरत है। दूर से इस झील की पहली झलक देखते ही आप इसकी सुन्दरता के कायल हो जायेंगे।
पैंगोंग झील की यात्रा करने का सही समय मई से सितम्बर तक का है। सर्दियों में यहाँ का तापमान इतना कम होता है कि पूरी झील जम जाती है। इसलिए सर्दियों के दौरान इन स्थान पे आने से बचे। हालांकि प्राकृति प्रेमी सर्दियों में भी अपनी कल्पना को जीवंत बनाने के लिए यहाँ आते है।
पैंगोंग झील एक दूरस्थ स्थान है और यहाँ रुकने के लिये डीलक्स टेंट सबसे अच्छा विकल्प है। यदि आप गेस्ट हाउस में रुकना चाहते है तो आपको तांगत्से में रहना होगा जो पैंगोंग से लगभग 35 किमी दूर है। पैंगोंग झील में होमस्टे भी प्रचलित है। ये साफ-सुथरे वॉशरूम के साथ छोटे छोटे घर है। पैंगोंग झील के पास टेन्टस में रुकना अपने आप में एक अनोखा अनुभव होगा। जब आप प्राकृति के साथ का आनंद ले सकते है।
अगर आप इस बार लेह लद्दाख जाने का विचार कर रहे हैं तो इस खूबसूरत झील को देखने जरूर जायें। यकीन मानिये पैगांग झील देखने के बाद आपको अपने फैसले पर खुशी होगी।