![Photo of मेरी कैलाश मानसरोवर यात्रा- चौथा दिन by Kalpana Srivastav](https://static2.tripoto.com/media/filter/nl/img/2030670/TripDocument/1602053001_1602052997229.jpg)
हिलसा नेपाल सीमा पर स्थित छोटा सा कस्बा हैं, जो चारो तरफ पहाडों से घिरा है। साथ में करनाली नदी बहती है। नदी पे बना पुल नेपाल और चीन को जोड़ता है। कल रात काफी ठंड होने के बावजूद हमसब देर रात तक डाइनिंग हाल मे मजेदार किस्से शेयर करते रहे और दादाजी ने तो समा ही बांध दिया था।
हमारे गाईड जिम्मी के साथ 4 नेपाली लड़के भी आये थे जो हमारे लिये खाना बनाने और सामान उठाने के लिये थे। कल रात को जब दादी का खाना खाने का मन नहीं था तब इन्हीं में से एक ने जबरदस्ती उन्हे थोडा खाना खिलाया तथा उनके लिये specially गरम सूप बना के पिलाया। कहने का मतलब ये है कि वो सब बिना आलस के हम सबका अच्छा ख्याल रखते थे।
सुबह 7 बजे उठकर मैं ओर विनय घुमने निकल गये। वैसे तो कल शाम को भी आसपास घुमे थे। पास में ही हैलीपेड था तो हेलिकॉप्टर को आते जाते देखने में ही बड़ा मज़ा आ रहा था। वैसे तो हिलसा में देखने या घुमने के लिये कुछ भी नही हैं पर फिर भी यहाँ चारों तरफ खड़े ये पहाड़ हमे बता रहे थे कि मन की शन्ति के लिये हमसे अच्छी जगह और कहीँ नहीं है और करनाली नदी की कलकल यहां की रौनक बढाती है। पर हमें साथ में बर्फीली हवा के तेज थपेडों को भी सहना पड़ रहा था।
आज सुबह से मौसम खराब था इसलिये कोई हैलीकॉप्टर नही आया था। हम सब को यही चिंता थी कि कहीँ आज भी हमे यहीं ना रुकना पड़ जाये। नहीं तो यहां कितना घूमेंगे और कितनी फोटोग्राफी कर लेंगे। हम सबको इन्तजार था बाकी सदस्यों के आने का और आगे जाने का।
करीब 2 बजे मौसम खुला और हैलीकॉप्टर का आना जाना शुरू हुआ। 2.30 बजे के करीब हमारे ग्रुप के बाकी सदस्य भी आ गये।
करीब 3.30 बजे नेपाल immigration के बाद हम सब पुल पार करके चीन में प्रवेश कर गये। चीन में हमारे सामान की विस्तृत जांच हुई। Immigration office में करीब 1 घन्टा लगा। इसके बाद हम बस से पुरांग पहुंचे। पुरांग चीन का एक छोटा सा शहर हैं जो करीब 13,200 फुट की ऊँचाई पर है। जैसे जैसे ऊंचाई बढ़ रही थी वैसे वैसे सांस जल्दी फूलने लगी थी। होटल की बिल्डिंग तो अच्छी थी पर सुविधा के नाम पर कुछ खास नहीं था। होटल रुम के टीवी पर भी सिर्फ चाइनीज़ प्रोग्राम ही आ रहे थे। पर होटल में wifi होने के कारण हमने We chat पे घरवालों से चैटिंग की। हमारे गाईड ने बोला कि अपनी आगे की खरीदारी यहीं से करनी है जैसे ऑक्सिजन सिलेंडर, छड़ी, ड्राई फ्रूट, जूस, पानी के लिये कैन (जिसमे हमें मानसरोवर जल लाना था) आदि। पर थके होने के कारण कोई भी मार्किट नहीं गया जबकी हमारा होटल मार्किट के बीच में ही था।
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