श्री बालाजी सालासर धाम मंदिर यात्रा

Tripoto
Photo of श्री बालाजी सालासर धाम मंदिर यात्रा by Hitendra Gupta

श्री खाटू श्याम भगवान का दर्शन करने के बाद हम दिल्ली एनसीआर से आए सभी लोग श्री बालाजी सालासर धाम की ओर रवाना हो गए। श्री बालाजी सालासर धाम भी बहुत ही दिव्य स्थल है। यह राजस्‍थान के चुरू ज‌िले में है। यहां हनुमान जी को सालासर बालाजी के नाम से जानते हैं। शायद यह देश का एकलौता दाढ़ी-मूछों वाले हनुमान यानी बालाजी का मंदिर है। सालासर धाम में श्री बालाजी के मंदिर में रोज भक्तों की भारी भीड़ उमड़ती है। मंगलवार, शनिवार और छुट्टी के दिन यहां भगवान बालाजी के दर्शन के लिए लोग दूर-दूर से से आते हैं। चैत्र पूर्णिमा हनुमान जयंती, आश्विन पूर्णिमा, और राम नवमी के अवसर पर यहां कुछ ज्यादा ही भीड़ रहती है।

Photo of Salasar, Rajasthan, India by Hitendra Gupta

श्री बालाजी सालासर धाम मंदिर

श्री बालाजी सालासर धाम मंदिर के बारे में बताया जाता है कि बाबा मोहनदास जी महाराज ने इस मंदिर की स्थापना की थी। बाबा मोहनदास जी की भक्ति से प्रसन्न होकर आसोटा गांव में हनुमान जी प्रकट हुए थे। बाबा मोहनदास जी ने आसोटा से मूर्ति को लाकर सालासर में सन 1754 में शुक्ल नवमी को शनिवार के दिन पूर्ण विधि-विधान से प्राण प्रतिष्ठा की थी। मंदिर के द्वार और दीवारें चांदी से बनी मूर्तियों और चित्रों से सुसज्जित हैं। यहां भगवान श्री बाला जी को चूरमे का भोग लगता है।

बाबा मोहनदास जी ने उसी समय मंदिर परिसर में धुनी जलाई थी जिसकी अखंड ज्योति आज भी जल रही है। मंदिर परिसर में पिछले कई साल से यहां रामायण का अखण्ड पाठ और कीर्तन भी चल रहा है। मान्यता है कि श्री बालाजी यहां आने वाले हर व्यक्ति की मनोकामनाएं पूरी करते हैं। दूर-दूर से लोग यहां अपनी कामना को लेकर आते हैं और खुशी-खुशी जाते हैं। यहां पास ही एक प्राचीन पेड़ है, जहां लोग अपनी मनोकामना पूरी होने के लिए नारियल बांध देते हैं।

अंजनी माता का मंदिर

श्री बालाजी सालासर धाम मंदिर से करीब दो किलोमीटर की दूरी पर अंजनी माता का मंदिर है। इस मंद‌िर में श्री बालाजी बाल रूप में अंजनी माता की गोद में बैठे हुए हैं। यहां महिलाएं अपने सुखद- सफल वैवाहिक जीवन के लिए नारियल और सुहाग चिन्ह चढ़ाती हैं।

कैसे पहुंचे श्री बालाजी सालासर धाम

श्री बालाजी सालासर धाम आप बस या अपनी गाड़ी से देश के किसी भी हिस्से से आसानी से पहुंच जाएंगे। दिल्ली से करीब 300 किलोमीटर दूर है। नजदीकी हवाई अड्डा जयपुर ही है, जो करीब पौने दो सौ किलोमीटर दूर है। रेलवे की बात करें तो नजदीकी रेलवे स्टेशन सुजानगढ़ 25 किलोमीटर और सीकर 55 किलोमीटर दूर है। लक्ष्मणगढ़ यहां से 32 किलोमीटर दूर है।

Photo of Salasar Balaji Temple, Balaji Temple Road, Salasar, Rajasthan, India by Hitendra Gupta

रहने के लिए यहां श्री खाटू श्याम की तरह ही दर्जनों धर्मशालाएं हैं। ज्यादातर में रुकने की व्यवस्था निशुल्क है। सभी तरह के होटल और रेस्त्रां भी यहां आपको मिल जाएंगे। यहां खाने-पीने की भी बहुत बढ़िया व्यवस्था है। लोग कढ़ी-पकौड़ा जरूर खात हैं। आप यहां से मिठाई के अलावा नमकीन, अचार और मसाले भी ले जा सकते हैं।

https://www.jiozindagi.com

Further Reads