झांसी घूमने से जुड़ी समस्त जानकारी (2022)

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झांसी उत्तर प्रदेश का एक ऐतिहासिक शहर है जो कि रानी लक्ष्मीबाई की वीरता के लिये विख्यात है सभी इस बात से परिचित है कि रानी लक्ष्मीबाई एक वीर देशभक्त थी जब जब बात भारत की आज़ादी की होगी तब तब रानी लक्ष्मीबाई को याद जरूर किया जायेगा|नमस्कार साथियों आज हम आपको झांसी में घूमने की जगहों के बारे में बतायेंगे इसके अलावा झांसी में कहाँ रुका जाए , किस तरह से घूमा जाये , खानपान , झांसी कब जाये , झांसी कैसे पहुंचे आदि की भी जानकारी देंगे बस आप यह लेख अंत तक जरूर पढ़े |

झांसी में घूमने के लिये झांसी का किला , रानी महल , सखी के हनुमान मन्दिर , राजकीय संग्रहालय झांसी , रानी लक्ष्मी बाई पार्क , इस्कान मन्दिर , मैथिली शरण गुप्त पार्क , बरुआसागर , सैंट जूड चर्च , भारत माता मन्दिर , पंचतंत्र पार्क , राजा गंगाधर राव की छतरी , लक्ष्मी मन्दिर , महाकाली मन्दिर , कैमासन देवी मन्दिर , करगुवां जैन मन्दिर , मेजर ध्यानचंद की प्रतिमा , गढ़मऊ झील , पहुज बाँध , माताटीला बाँध , सुकमा दुकमा बाँध आदि है |

How To Reach Jhansi - झांसी कैसे पहुंचे

ऐतिहासिक शहर झांसी उत्तर प्रदेश में स्थित एक जनपद है और भारत के किसी भी कोने से यहाँ तक आना बहुत ही आसान है झांसी का रेलवे स्टेशन एक बड़ा जंक्शन है तो यहाँ का रेल मार्ग अत्यधिक उत्तम है |~ यदि आप वायुमार्ग से झांसी आना चाह रहे हो आपको बता दे कि झांसी शहर के सबसे नजदीक का एअरपोर्ट ग्वालियर में है जो की यहाँ से लगभग 120 किलोमीटर की दूरी पर है अगर आपको वायुमार्ग से आना हो तो आप पहले ग्वालियर आओ फिर ग्वालियर से ट्रेन बस या गाड़ी बुक करके झांसी आ जाओ ये मैंने आपको नजदीक का एअरपोर्ट बताया है बाकी सबसे ठीक ठाक एअरपोर्ट दिल्ली और लखनऊ में ही है |

~ अब यदि आपको रेल मार्ग से आना है तो मेरे हिसाब से झांसी आने का बेस्ट तरीका ट्रेन ही है क्यूंकि झांसी जंक्शन एक बड़ा रेलवे स्टेशन है देश के लगभग सभी बड़े शहरों से झांसी के लिये ट्रेन है आप देश के किसी भी कोने में हो आपके शहर या आपके किसी नजदीक के बड़े शहर से झांसी के लिये ट्रेन मिल जाएगी उदाहरण देखिये जैसे मै हरदोई उत्तर प्रदेश का रहने वाला हु मेरे शहर से झांसी के लिये कोई सीधी ट्रेन नहीं है लेकिन हरदोई के नजदीक के शहर जैसे लखनऊ कानपुर से झांसी की ट्रेन्स है तो कोई भी दिक्कत नहीं है |

~ यदि आप सड़क मार्ग से यहाँ आना चाह रहे हो तो सबसे पहले यह जान लो झांसी में बस स्टैंड है देश के तमाम बड़े शहरों से यहाँ तक के लिये सरकारी और प्राइवेट बस की सेवा है इसके अलावा यह शहर सड़क मार्ग द्वारा अच्छे से जुड़ा हुआ है तो आप अपनी गाड़ी लेकर भी यहाँ आ सकते है |

झांसी कैसे घूमे मतलब झांसी के अन्दर घूमने के साधन

यदि हम पब्लिक साधन की बात करे तो यहाँ आपको बस टेम्पो ऑटो ई-रिक्शा सब मिल जायेगा पूछ-पूछ के इन पर बैठकर आप यह शहर घूम सकते है इसके अलावा आप कोई ऑटो रिक्शा या कार दिन भर के लिये बुक कर ले और बड़े आराम से इस ऐतिहासिक शहर को घूमिए सबसे अच्छा तरीका यही है कि आप दिन भर के लिये अपने बजट के अनुसार ऑटो या कार बुक कर लो |

कब जाये झांसी

वैसे तो आप इस शहर में किसी भी महीने जा सकते है कोई दिक्कत नहीं है लेकिन यह उत्तर भारत का एक शहर है तो गर्मियों खासकर मई जून जुलाई में यहाँ पर अत्यधिक गर्मी पड़ती है तो फिर गर्मियों में घूमने का थोडा सा मजा किरकिरा हो जाता है |अच्छा एक बात और झाँसी के आसपास कई झीले कई बांध है जो कि बरसात में काफी मनोरम हो जाते है तो बरसात भी एक ठीक ठाक मौसम है झाँसी घूमने के लिये लेकिन बरसात में कभी कभी सड़के सही नहीं होती है या आप कही घूमने निकले तो बरसात होने लगे बाकि गर्मी भी रहती है बरसात में तो थोड़ी ये दिक्कते है बरसात की |

अगर हम बेस्ट टाइम की बात करे तो झांसी घूमने का बेस्ट टाइम है ठंडी का है आप अक्टूबर से मार्च तक झांसी जाइये तो सबसे ज्यादा बढ़िया फरवरी-मार्च में झाँसी महोत्सव आयोजित होता है आप यदि महोत्सव के शौखीन है तो आप जानकारी करके फरवरी-मार्च में ही जाये |

मै यही सलाह दूंगा आप फरवरी में जाओ क्यूंकि गर्मी भी नहीं होगी और आपको झाँसी महोत्सव भी देखने को मिल जायेगा वही यदि आप झाँसी की प्राकृतिक सुन्दरता मतलब यहाँ के बाँध और झील का आनंद लेना चाहते हो तो आप यहाँ बरसात में आओ क्यूंकि बरसात के मौसम में झील झरने बाँध की ख़ूबसूरती अत्यधिक बढ़ जाती है |

झांसी में कहाँ रुके

आपझांसी घूमने आये है तो आपको यहाँ रुकना भी पड़ सकता है और मेरी मानिये तो एक रात रुककर ही आराम से घूमिये तो रुकने के लिये झांसी में तमाम होटल गेस्ट हाउस उपलब्ध है वो भी हर प्रकार के बजट में यदि हम रेलवे स्टेशन के नजदीक की बात करे तो आप चित्रा चौराहे के आसपास होटल देख सकते है या फिर इलाईट चौराहे के पास बहुत से होटल है और जितनी मुझे जानकारी मिली इलाईट चौराहा झांसी का प्रमुख चौराहा है तो यहाँ रुकना सही है |

अगर सस्ती देखे तो धर्मशाला सबसे सस्ती रहती है मुझे झाँसी में घूमते समय रानी महल के पास एक धर्मशाला दिखाई दी थी जो की सस्ते में रुकने के लिए एक विकल्प है धर्मशाला का नाम श्री अम्मा जी की धर्मशाला है और यह रानी महल रोड पर स्थित है |

Place to visit in Jhansi - झांसी के पर्यटन स्थल

हम सबको पता है उत्तर प्रदेश का शहर झाँसी वीरांगना लक्ष्मीबाई के लिये जाना जाता है इसके अलावा हॉकी के जादूगर मेजर ध्यानचन्द्र भी झाँसी में ही रहे है और साहित्य जगत के दद्दा मैथिलीशरण गुप्त जी भी झाँसी के पास चिरगांव से थे तो आइये जानते है झाँसी के प्रमुख घूमने की जगहों के बारे में -

मेजर ध्यानचन्द पर्यटन स्थल

शहर झाँसी में हॉकी के जादूगर कहे जाने वाले मेजर ध्यानचंद के सम्मान में एक पहाड़ी पर मेजर ध्यानचंद की प्रतिमा को बनाया गया है जो की बहुत ही आकर्षक लगती है आपको बता दे कि मेजर ध्यानचंद का जन्म तो उत्तर प्रदेश के प्रयागराज में हुआ था लेकिन इनके पिताजी झाँसी में नोकरी करते थे तो ध्यानचंद जी का जीवन झाँसी में ही गुजरा है यही उन्होंने हाकी खेलना शुरू किया था तो यह जो पर्यटन स्थल है यह सीपरी की पहाड़ी पर बना हुआ है यहाँ आप सीपरी बाजार होते हुये पहुँच सकते है |

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यहाँ तक जाने के लिये आपको बहुत सी सीढ़ियों से चढ़ के जाना होगा पहाड़ी पर मेजर ध्यानचंद की हाकी खेलते हुये प्रतिमा बनी है और ऊपर एक प्लेटफार्म पर बैठने के लिये बेंच है और बरसात से बचने के लिये एक बरामदा बनाया गया है सुरक्षा के द्रष्टिकोण से यहाँ पर रेलिंग भी बनाई गई है एक बात और जब आप ऊपर पहाड़ी पर आ जायेंगे तो यहाँ से आपको झाँसी शहर का एक बहुत ही सुन्दर व्यू दिखाई देगा |

इन सबके अलावा यही पहाड़ी पर I Love Jhansi का सेल्फी पॉइंट भी है लेकिन पहाड़ी पर से आप यहाँ सेल्फी ले नही पाएंगे क्यूंकि इसे बिल्कुल ही पहाड़ी के किनारे पर बनाया है खैर आपको इस Place to visit in Jhansi जरूर घूमने आना चाहिये हा यदि आपको सीढियां चढ़ने में समस्या है तो आप यहाँ मत आइये | सीपरी बाज़ार से जब आप मेजर ध्यानचंद पर्यटन स्थल की तरफ जाओगे तो आपको रास्ते में ध्यानचंद स्टेडियम , प्राचीन पंचमीर हनुमान मंदिर , चन्द्रशेखर आजाद पार्क भी दिखाई देंगे यदि समय हो तो आप यहाँ भी टहल सकते है |

श्री श्री १००८ गोपाल जी का मन्दिर और श्री श्री १००८ रघुनाथ जी का मन्दिर सीपरी बाज़ार

सीपरी बाज़ार में झाँसी के दो प्राचीन मंदिर है जो की आमने सामने बने हुये है यहाँ भी आप दर्शन का लाभ ले सकते है गोपाल जी का मंदिर सुबह 5:30 से दोपहर 12 बजे तक फिर शाम 5 बजे से रात्रि 9 बजे तक दर्शन हेतु खुलता है यह दोनों मंदिर काफी पुराने है |

श्री भारत माता मन्दिर

श्री भारत माता मंदिर भी शहर का एक प्रमुख मन्दिर है इस मन्दिर प्रांगण में कई देवी देवताओ के मन्दिर है जैसे शनि मंदिर , नवग्रह मंदिर , साईं मंदिर , जगन्नाथ धाम , गणेश मंदिर , राधाकृष्ण मंदिर, राम लक्ष्मण दरबार , द्वादश ज्योतिर्लिंग मन्दिर आदि मंदिर परिसर में ब्रह्मा जी की प्रतिमा , नंदी जी की प्रतिमा , शिव जी की प्रतिमा , गायत्री जी की प्रतिमा , हनुमान जी की प्रतिमा , लक्ष्मी जी की प्रतिमा , श्री दत्तात्रेय भगवान की प्रतिमा स्थापित है |

जो मुख्य भारत माता मन्दिर है उसमे देवी माँ के नौ रूपों को दिखाया गया है श्री भारत माता मंदिर का बाहर से स्वरुप एक शिवलिंग की तरह है जो की एक विशाल शिवलिंग दिखाई देता है यह एक भव्य शिवलिंग है यह मंदिर दीनदयाल नगर में स्थित है इस मंदिर परिसर में एक साथ ही द्वादश ज्योतिर्लिंग और नौ देवी के मंदिर है इस दिव्य स्थल पर आपको जरूर आना चाहिए |

पंचतंत्र पार्क

झाँसी में चित्रा चौराहे के समीप ही स्थित है पंचतंत्र पार्क यदि आपके साथ छोटे बच्चे है तो आप इस पार्क में जरूर आइयेगा यह पार्क मुख्य रूप से बच्चो के लिए ही बनाया गया है इस पार्क के प्रवेश मार्ग पर ही दो शेर बने हुये है जो बच्चो को अपनी और आकर्षित करते है थोडा ही अन्दर आने पर एक स्पाइडर मैन का स्टेचू बना हुआ है यहाँ का जो टिकट का शुल्क है वो १० रूपये है वही जो बच्चे ३ साल से १२ साल के बीच के है उनका टिकट महज 5 रूपये का है |

पंचतंत्र पार्क में झूले है बतखे है जगह जगह पर जानवरों के कार्टून बने हुए है इस पार्क में एक टॉय ट्रेन भी है तो कुल मिलाकर देखा जाय तो बच्चो के लिये पंचतंत्र पार्क एक बेहतरीन टूरिस्ट स्पॉट है |

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इस्कान मन्दिर मिनर्वा चौराहा

झाँसी स्थित इस्कान मन्दिर की यहाँ बहुत ज्यादा मान्यता है सन २००२ में इस मन्दिर की स्थापना हुई थी इस मन्दिर की जन्माष्टमी अत्यधिक भव्य होती है इस्कान मंदिर झाँसी से जगन्नाथ रथ यात्रा का कार्यक्रम भी होता है , मन्दिर परिसर में एक गौशाला भी है , इस्कान मन्दिर परिसर की दीवारों पर भगवान की बड़ी ही सुन्दर पेंटिंग लगी हुई है मूल रूप से यह मंदिर राधा कृष्ण को समर्पित है इस्कान मंदिर में होने वाले भजन हमारे कानो को बड़ा सकून देते है |

वीरांगना महारानी लक्ष्मी बाई पार्क और राष्ट्कवि मैथिलीशरण गुप्त पार्क

वीरांगना महारानी लक्ष्मी बाई पार्क और राष्ट्कवि मैथिलीशरण गुप्त पार्कआसपास ही है आसपास कहो या हम ये भी कह सकते है दोनों एक ही है Place to visit in Jhansi में ये दोनों पार्क महत्वपूर्ण है , वीरांगना महारानी लक्ष्मी बाई पार्क में आपको चारो तरफ हरियाली दिखाई देगी झूले है और रानी लक्ष्मी बाई की प्रतिमा है |

इस पार्क में एक्सरसाइज के लिये भी बढ़िया व्यवस्था की गई है बैठने के लिये जगह-जगह पर बेंच पड़ी हुई है अगर इस पार्क की लोकेशन की बात करे तो यह दोनों पार्क झाँसी के किले के समीप ही है यहाँ से आप किला तक पैदल ही जा सकते हो Place to visit in Jhansi में आप इन दोनों पार्क को जरूर शामिल कर ले क्यूंकि ये दोनों ही फोर्ट के समीप ही है |

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राजकीय संग्रहालय

वीरांगना महारानी लक्ष्मी बाई पार्क के सामने ही सड़क के दूसरी और स्थित है राजकीय संग्रहालय इस संग्कीरहालय टाइमिंग है सुबह 10:30 से शाम 04:30 तक ध्यान देने वाली बात यह है की यह संग्रहालय हर सोमवार को बंद रहता है इसके अलावा प्रत्येक माह के दूसरे रविवार को भी यह बंद रहता है और हर राजपत्रित अवकाश के दिन भी यह संग्रहालय बंद रहता है तो आप जब भी यहाँ आये तो ध्यान देकर आये |

यदि आप को इतिहास में रूचि है तो यहाँ आपको अच्छा लगेगा झाँसी से सम्बंधित समस्त इतिहास की जानकारी आपको इस संग्रहालय में मिल जाएगी इस संग्रहालय में आपको झाँसी के अतिरिक्त सम्पूर्ण बुन्देलखण्ड के इतिहास की जानकारी मिल जाएगी , राजकीय संग्रहालय में चंदेल शासको से जुडी बहुत सी जानकारियां संगृहीत है तो आप इस संग्रहालय को भी जरूर देखे Place to visit in Jhansi में राजकीय संग्रहालय महत्वपूर्ण है |

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डॉ. वृन्दावन लाल वर्मा पार्क

राजकीय संग्रहालय से जब आप झाँसी के किले की तरफ बढोगे तो बिलकुल किले के समीप ही एक पार्क दिखाई देगा जिसका नाम डॉ. वृन्दावन लाल वर्मा पार्क है यदि आपके पास समय हो तो आप इस पार्क में भी टहल सकते है इस पार्क की भी हरियाली मनमोहक है |

झाँसी का किला

झाँसी का किला Place to visit in Jhansi में सबसे महत्वपूर्ण है इस किले को देखे बगैर आपकी झाँसी यात्रा बेइमानी होगी वैसे बहुत से लोग झांसी में सिर्फ किला ही देखने आते है और आये भी क्यों न आज यह किला शान से खड़ा है और हमको वीरांगना लक्ष्मी बाई की वीरता की याद दिलाता है महारानी लक्ष्मीबाई ने अंग्रेजो से मोर्चा लिया था निसंदेह यह किला झाँसी की रानी लक्ष्मीबाई के पराक्रम , साहस , देशभक्ति की याद दिलाता है |

सन 1613 में ओरछा के राजा वीर सिंह जूदेव ने इस किले का निर्माण करवाया था सन 1731 में यह किला मराठो के अधीन आ गया था इस किले को बंगरा नाम की एक पहाड़ी पर बनवाया गया था आप जब भी इस किले में घूमने आये तो समय लेकर आये क्यूंकि यह किला बहुत बड़ा है |

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झांसी के किले का प्रवेश शुल्क

यहाँ घूमने के लिए आपको टिकट भी लेना होगा जिसकी कीमत मात्र 25 रूपये है यदि आप कैश दोगे तो टिकट 25 रूपये है यदि pos के माध्यम से टिकट लोगे तो आपको यह टिकट 20 रूपये में मिल जाएगी वाही विदेशी नागरिको के लिए टिकट कैश से 300 रूपये और pos से 250 रूपये है 15 वर्ष से छोटे बच्चो के लिये यहाँ प्रवेश निशुल्क है |

झांसी के किले की टाइमिंग

यदि हम झाँसी के किले को घूमने की टाइमिंग की बात करे तो यह टाइमिंग सूर्योदय से सूर्यास्त तक की है |

झाँसी के किले के अन्दर क्या क्या घूमे रानी महल

किले से थोड़ी ही दूरी पर स्थित है रानी महल यहाँ आप किले से पैदल भी जा सकते है या ऑटो ई रिक्शा से भी जा सकते हो रानी महल की नक्खाशी कलाकृति आपको बहुत ही पसंद आएँगी रानी महल में रानी लक्ष्मीबाई निवास करती थी खैर आज यह एक संग्रहालय सा बन गया है , रानी लक्ष्मीबाई मह का निर्माण रघुनाथ राव दृतीय ने सन 1769 से 1796 के मध्य करवाया था रघुनाथ राव नेवालकर वंश के थे |यह महल दो मंजिल का एक खूबसूरत महल है रानी महल के अन्दर बने दरबार हाल की दीवारे और छत की चित्रकला गज़ब की है रंग बिरंगे पुष्प पौधे जीव मयूर वृक्ष की शाखाये आदि को बनाया गया है तो यहाँ पर आप जरूर आइयेगा |

श्री १००८ दिगम्बर जैन पंचायती बड़ा मन्दिर

श्री १००८ दिगम्बर जैन पंचायती बड़ा मन्दिर रानी महल से थोड़ी दूरी पर गाँधी रोड पर बना है यह मंदिर मुख्य रूप से एक जैन मन्दिर है यदि आपके पास समय की कमी नहीं है तो आप यहाँ भी दर्शन कर ले |

लक्ष्मी गेट

अब जब आप गंगाधर राव की छतरी की तरफ जाओगे तो रास्ते में आपको मिलेगा लक्ष्मी गेट इसी गेट पर भी ही आपको एक हनुमान मन्दिर मिलेगा आप यहाँ भी दर्शन करते चले |

श्री महाकाली मन्दिर

श्री श्री १००८ महाकाली मन्दिर भी झाँसी का एक प्रसिद्ध मंदिर है यह मुख्य रूप से महाकाली जी को समर्पित है और यह मंदिर बिलकुल गंगाधर राव की छतरी के समीप ही है इस मंदिर का परिसर भव्य और विशाल है यहाँ भी आप रुककर महाकाली के दर्शन कर ले |

श्री श्री १००८ श्री महावीर जी मंदिर

श्री महाकाली मंदिर के थोडा सा आगे जाने पर पड़ता है श्री श्री १००८ श्री महावीर जी मंदिर जो की मुख्य रूप से हनुमान जी का मंदिर है और बाहर से सफ़ेद रंग का भव्य दिखाई देता है तो अब यहाँ भी रुकिए और हनुमान जी के दर्शन करते चलिये |

लक्ष्मी ताल

जब मै यहाँ पर गया तो यहाँ इस ताल में कुछ काम चल रहा था तो सब टूटा फूटा सा पड़ा था लेकिन जब यह दुबारा बनकर तैयार होगा तो निसंदेह एक रमणीक स्थल होगा तो आप अपनी लिस्ट में लक्ष्मी ताल का नाम भी शामिल कर ले |

राजा गंगाधर राव की छतरी

राजा गंगाधर राव की छतरी Place to visit in Jhansi का एक महत्वपूर्ण स्थल है यहाँ आप जरूर आइयेगा राजा गंगाधर राव की छतरी को रानी लक्ष्मीबाई ने सन 1853 में बनवाया था यह छत्री चतुर्भुजाकार में बनवाई गई है यहाँ चारो तरफ ऊँची ऊँची दीवारे है और मध्य में एक उद्यान बना है उद्यान के पास ही राजा गंगाधर राव की छतरी है , राजा की समाधी एक चबूतरे पर बनी है तो आप इस स्थल पर जरूर आइयेगा |

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लक्ष्मी मन्दिर

राजा गंगाधर राव की छतरी के सामने ही बना है झाँसी का प्राचीन लक्ष्मी मंदिर कहा जाता है रानी लक्ष्मी बाई यहाँ पूजा करने आती थी इस मंदिर का निर्माण 18वी शताब्दी में किया गया था इस मंदिर परिसर के गर्भगृह में सफ़ेद संगमरमर की लक्ष्मी जी की प्रतिमा है इस मंदिर से पहले आपको एक और मंदिर दिखाई देगा जिसे नवग्रह मंदिर नाम से जानते है आप यहाँ भी दर्शन जरूर करे लक्ष्मी मन्दिर एक भव्य मंदिर है और इस लक्ष्मी मंदिर परिसर में कई और मंदिर भी है |

हर्बल गार्डन

यह एक पार्क है जिसमे हरियाली ही हरियाली है इस हर्बल गार्डन की खास बात यह है कि यहाँ पर बनी बेहद सुन्दर कलाकृतियाँ अनुपयोगी सामान से बनाई गई है यहाँ एक ट्रेकिंग का मार्ग भी है जहाँ आप जागिंग कर सकते है यह कैंट इलाके में बना हुआ है यहाँ भी आपको बहुत ज्यादा अच्छा लगेगा |

सखी के हनुमान मन्दिर

शहर से बाहर स्थित है झाँसी का अति प्रतिष्ठित मन्दिर जिसे सखी के हनुमान मन्दिर नाम से जानते है इस मंदिर का परिसर बहुत बड़ा है मंदिर परिसर में ही प्रसाद इत्यादि की दुकाने है और यहाँ पर कई मंदिर बने हुये है जैसे श्री महालक्ष्मी जी मंदिर मंदिर परिसर में बनी शिव पार्वती की प्रतिमा बहुत ही आकर्षक लगती है मंदिर के प्रवेश मार्ग के ऊपर श्रीराम की प्रतिमा लगी है और प्रतिमा के दोनों तरफ शेर बने हुये है यह प्रवेश द्वार अत्यंत भव्य दिखाई देता है |

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इस मन्दिर की सबसे खास बात यह है कि यहाँ पर हनुमान जी स्त्री रूप में विराजमान है सखी के हनुमान मंदिर में कई हिन्दू देवी देवताओ की बहुत ही सुन्दर प्रतिमाये स्थापित है यह मंदिर शहर से बाहर झाँसी से ग्वालियर जाने वाले रोड पर है यहाँ आप ऑटो या गाड़ी बुक करके ही जाये क्यूंकि यहाँ के लिये पब्लिक साधन मिले कोई जरूरी नहीं |

कैमासन देवी मन्दिर

कैमासन देवी मंदिर झाँसी में बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के पीछे एक ऊँची पहाड़ी पर स्थित है सन ११२० में महोबा के परमार राजा ने कैमासन देवी का मंदिर बनवाया था इस मंदिर में माँ कामख्या की मूर्ति है नवरात्रों में इस मंदिर में श्रधालुओ की एक भारी भीड़ दिखाई देती है इस मंदिर तक आने के लिए आपको 150 से ज्यादा सीढियां चढ़नी पड़ती है कैमासन देवी मंदिर एक प्राचीन सिद्धपीठ है , इस मंदिर से झाँसी का विहंगम द्रश्य दिखाई देता है |

कैमासन देवी मंदिर जाने के लिए आप बुंदेलखंड विश्वविद्यालय परिसर से होकर पक्की सीढियों के रास्ते से जा सकते है अच्छा एक और रास्ता है जो करगुआ की तरफ से है तो आप Place to visit in Jhansi मतलब झाँसी घुमक्कड़ी की लिस्ट में कैमासन देवी मन्दिर को भी शामिल कर ले |

करगुवां जी जैन मन्दिर

झाँसी से लगभग 5 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है करगुवां जी जैन मन्दिर जो की अतिशय क्षेत्र सांवलिया पार्श्वनाथ का मंदिर है यह जैन मंदिर परिसर अत्यधिक शांत है , करगुवां जी जैन मन्दिर करगुवां गाँव में है यहाँ के मंदिर अत्यधिक भव्य है |

सैंट जूड चर्च

सैंट जूड चर्च झाँसी की सबसे लोकप्रिय चर्च है यह दिखने में बहुत ही आकर्षक है सैंट जूड चर्च झाँसी के सिविल लाइन में स्थित एक चर्च है जो की कैथोलिक ईसाइयो का धार्मिक स्थल है , सैंट जूड ईसा मसीह के 12 करीबियों में से एक थे यह काफी बड़ी चर्च है |

ऊपर हमने Place to visit in Jhansi के कुछ खास खास पर्यटन स्थल की बात की इनके अलावा आप शहर में बलिदान पार्क , अटल एकता पार्क , पंचकुइयां मन्दिर , राजकीय उद्यान नारायण बाग़ , अतिया ताल आदि भी जा सकते है |

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झाँसी के आसपास घूमने की जगहे

अब हम आपको कुछ उन जगहों के बारे में बताएँगे जो झाँसी शहर से थोड़ी सी दूरी पर है -

पहुज बाँध

शहर से लगभग 8 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है याहं आप बांध देख सकते है जलाशय देख सकते है बरसात में यहाँ का व्यू बहुत ही खूबसूरत होता है

गढ़मऊ झील

गढ़मऊ झील एक बहुत ही रमणीक पर्यटन स्थल है यह एक झील है जो बहुत ही बड़ी है यहाँ पर बैठने की बढ़िया व्यवस्था है झाँसी रेलवे स्टेशन से गढ़मऊ झील लगभग 17 किलोमीटर दूर है |

परीछा बाँध

झाँसी रेलवे स्टेशन से लगभग 25 किलोमीटर की दूरी पर है परीछा बाँध यहाँ एक झील और एक पार्क है यहाँ लोग घूमने आते है |

सुकमा दुकमा बाँध

बरसात में यह बाँध एक झरने सा दीखता है यह बबीना नाम की जगह पर है और रेलवे स्टेशन से लगभग 35 किलोमीटर की दूरी पर है |

माताटीला बाँध

शहर से लगभग 50 किलोमीटर की दूरी पर स्थित माताटीला बाँध में आप एक पार्क पाएंगे एक मंदिर पाएंगे और बाँध तो है ही |

पनरिया नाथ झरना

यहाँ पर झरने से गिरता पानी धुंवे के रूप में बहुत दूर तक उड़ता है

ओरछा

झाँसी से महज 15 किलोमीटर की दूरी पर स्थित मध्य प्रदेश का ओरछा जो श्री राम राजा सरकार मंदिर और किले के लिये प्रसिद्ध है |

बरुआसागर

झाँसी से लगभग 20 किलोमीटर की दूरी पर स्थित बरुआसागर में झील और किला देखने वाला है |

बरुआसागर घूमने की समस्त जानकारी कैसे पहुंचे क्या क्या देखे Baruasagar Fort

दतिया

मध्य प्रदेश का एक जिला है दतिया जो झाँसी से मात्र 28 किलोमीटर की दूरी पर है याहं आप माँ पीताम्बरी देवी के दर्शन हेतु जा सकते है |Datia Tourist Places - दतिया में घूमने की जगहें खानपान शापिंग की जानकारी

झाँसी के मुख्य बाज़ार

झाँसी के मुख्य बाजार सीपरी बाज़ार , सदर बाज़ार और मानिक चोक है यहाँ आपको आपकी जरूरत का लगभग हर सामान मिल जाएगा |

झाँसी में होने वाले मेले महोत्सव

झाँसी का सबसे बड़ा महोत्सव होता है झाँसी महोत्सव जिसे राज्य सरकार कराती है यह फरवरी महीने में होता है तो आप चाहे तो जानकारी करके आये और झाँसी महोत्सव का हिस्सा बने , फरवरी में ही नारायण बाग़ में सब्जियों और फूलो की प्रदर्शनी लगती है |

झाँसी के मशहूर खाने पीने के ठिये

अब हम बात करेंगे झाँसी शहर के कुछ लोकप्रिय व्यंजनों के बारे में यहाँ हम आपको एक लिस्ट दे देंगे जिससे आपको बड़ी सहूलियत हो जायेगी -

दाऊ के समोसे मिनर्वा चौराहा किले से थोड़ी दूरी पर श्रीनाथ पाव भाजी सदर बाज़ार नारायण चाट सदर बाज़ार गीता भोजनालय इलाइट चौराहा जनक्स रेस्टोरेंट इलाइट चौराहा हवेली रेस्टोरेंट इलाइट चौराहा वंदना स्वीट्स इलाइट चौराहा अवध फूड्स इलाइट चौराहा बसन्त यादव की चाय सीपरी बाज़ार रस बहार रेस्टोरेंट सीपरी बाज़ार वृन्दावन स्वीट्स रेस्टोरेंट सीपरी बाज़ारझाँसी घूमने की अन्य काम की जानकारियां

आप सबसे पहले पहुँच जाए रानी लक्ष्मीबाई पार्क फिर यही पास में राजकीय संग्रहालय देख ले फिर थोडा आगे डा. वृन्दावन लाल वर्मा पार्क देखो फिर झाँसी का किला देखो किला देखकर आ जाओ रानी महल यह सभी जगहे आसपास ही है आप पैदल भी घूम सकते है किले के पास ही मिनर्वा चौराहे के पास दाउ के समोसे खाना न भूलियेगा|

रानी महल से आप लक्ष्मी गेट होते हुये निकल जाओ राजा गंगाधर राव की छतरी की तरफ वहां आप महाकाली मन्दिर , लक्ष्मी मन्दिर , नवग्रह मंदिर , महावीर मंदिर देखो यह सभी पर्यटन स्थल पास में ही है |

अब जो झाँसी के टूरिस्ट पॉइंट बचे है उनके लिए आपको अलग अलग ही जाना होगा अप एक ऑटो या गाड़ी बुक करे और उसको सब नाम बता दे वो आपको घुमा देगा ऊपर जो बताया वो ऐसा है की एक ही जगह कई पर्यटन स्थल है तो वो सब आप एक साथ कवर कर सकते है |

महारानी लक्ष्मीबाई का शहर झाँसी साफ़ सफाई में बढ़िया है यहाँ की साफ़ सफाई मुझे अच्छी लगी और एक बात यहाँ जगह जगह पर पब्लिक टॉयलेट बने है जो कि एक बहुत बढ़िया बात है |

इलाइट चौराहे पे जरूर आये और यहाँ पर गीता भोजनालय , जनक्स रेस्टोरेंट , हवेली रेस्टोरेंट , अवध फूड्स , वंदना स्वीट्स आदि का स्वाद ले और यही से पास में ही है सैंट जूड चर्च आप चर्च भी देख ले |

अब आप चित्रा चौराहे की तरफ आइये यहाँ आप पंचतंत्र पार्क देखिये फिर सीपरी बाज़ार आकर बसन्त की चाय , रसबहार रेस्टोरेंट , वृन्दावन रेस्टोरेंट का स्वाद चखे और निकल जाए मेजर ध्यान चंद प्रतिमा की तरफ इस प्रतिमा को देखे |

सदर बाज़ार आकर श्रीनाथ की पावभाजी , और नारायण चाट का स्वाद ले फिर आप के पास जैसा समय हो भारत माता मंदिर , कैमासन देवी मंदिर , पहुज बाँध , गढ़मऊ झील , माताटीला बाँध , सुकमा दुकमा बाँध , पनारिया नाथ झरना , परीछा बाँध , ओरछा , बरुसागर , दतिया भी जा सकते है |

दोस्तों हमने आपको झांसी के बारे में इस लेख में बहुत कुछ बताया है वैसे अगर यहाँ के खास खास पर्यटन स्थल की बात करे तो झाँसी फोर्ट , रानी महल , राजा गंगाधर राव की छतरी , महाकाली मंदिर , लक्ष्मी मंदिर है बाकी Place to visit in Jhansi में बहुत से पर्यटन स्थल है जो बता दिये है आप कमेन्ट करके अवश्य बताये आपको यह लेख कैसा लगा |

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