दुनिया भर के जितने ट्रैवलर हुए हैं, सबकी मुश्किल एक परफ़ेक्ट रहने की जगह का चुनाव करना होता है। दिन भर ट्रैवल की थकान के बाद अगर रहने को जगह ढंग की मिल जाए तो ट्रिप यादगार बन जाए। अपने ट्रैवल में सबसे ज़्यादा ध्यान और पैसा भी आप खाने और रहने पर ही तो लगाते हैं, है ना? अगर नैनीताल का वीकेंड ट्रिप प्लान कर रहे हैं आप, तो 45 कि.मी. दूर नीले रंग का ये कॉटेज आपका अगला घर हो सकता है।
सबसे अच्छी बात है इस कॉटेज का रंग,नीला। वो रंग, जो सबको भाता है। कॉटेज के रंग के साथ इसकी सजावट भी ऐसी की गई है कि न खालीपन महसूस होता है, और न भरा भरा लगता है। यहाँ का परिसर आपको किसी यूरोपियन यात्रा के कॉटेज का फ़ील देता है जहाँ हर चीज़ बहुत करीने से रखी गई है।
किनके लिए है सबसे अच्छा विकल्प
अगर नैनीताल ट्रिप पर निकल रहे हैं आप तो इस जगह को ज़हन में ज़रूर रखें। दोस्तों के साथ या फिर परिवार के साथ सुकून भरा समय बिताने के लिए अच्छी जगह है ये।
6 दोस्तों का ग्रुप हो तो आपके लिए बेहतर होगा। ये कॉटेज 6 लोगों के ग्रुप को ध्यान में रखकर बनाया गया है।
कैसा लगा हमको कॉटेज
ज़मीन से 6,300 फ़ीट की ऊँचाई पर जब ठंड अपने होने का एहसास कराने लगती है वहाँ ये कॉटेज आपको मंद मंद गर्मी का अनुभव कराता है। अगर आप धानाचूली-भतेलिया-मुक्तेश्वर के रास्ते पर हैं, तो रुकने के लिए शायद ही इससे अच्छी जगह आपको मिले। सामने होते हैं नंदा देवी के ख़ूबसूरत पहाड़। सुन्दरखल के आस पास नीली कॉटेज पूछ लेंगे तो हर कोई आपको बता देगा।
इस कॉटेज में 2 बड़े बेडरूम हैं। इसके साथ ही कॉमन रूम में 2 मैट्रेस अलग से उपलब्ध हैं। दोनों ही रूम में किंग साइज़ बेड मौजूद हैं। कमरे बालकनी से जुड़े हुए हैं जहाँ से नंदा देवी की पहाड़ियाँ साफ़ दिखाई देती हैं।
फ़र्ज़ करिए उस आदमी का, जिसने इस जगह पर ये ख़ूबसूरत सा कॉटेज बनाया होगा। उसको पता होगा कि ज़िन्दगी दिल्ली के मकानों में काट कर नहीं, बल्कि शान्ति सुकून के साथ रहने में है। ठीक ऐसी जगह।
खाना
घर का देसी स्वाद महकता है यहाँ के किचन से। इस प्रॉपर्टी के केयरटेकर देव जी इसे बिल्कुल घर वाला माहौल दिए हैं और ख़्याल करते हैं कि आपको हर क़िस्म का स्वाद चखने मिले। खाना दिल से बनाया जाए तो उसका स्वाद और होता है। देव जी ये बात अच्छे से जानते हैं।
सबसे ज़रूरी बात, क़ीमत
एयरबीएनबी की क़ीमतें ज़्यादातर जगहों से कम होती हैं, लेकिन इससे ख़ातिरदारी में कोई कमी नहीं आती। कुल ₹3,500 प्रति व्यक्ति का एक दिन का किराया होता है। ब्रेकफ़ास्ट, लंच और डिनर, सब कुछ इसी खर्च में जुड़ा है।
जाने का सबसे उपयुक्त समय
जैसा कि आप जानते हैं, मुक्तेश्वर गर्मी के मौसम में शानदार रहता है। लेकिन ठंडी के मौसम का लुत्फ़ उठाना है तो अक्टूबर से मार्च के मौसम में भी निकल सकते हैं।
कैसे पहुँचें
सड़क मार्ग- नई दिल्ली से 360 कि.मी. दूर है यह कॉटेज। कुल 9 घंटे का समय लगेगा यहाँ तक पहुँचने में। किराया ₹400 तक।
ट्रेन मार्ग- नई दिल्ली से काठगोदाम के लिए ट्रेन जाती है। किराया ₹105 सेकेण्ड स्लीपर, स्लीपर किराया ₹180। यहाँ से 50 कि.मी. दूर अल्पाइन कॉटेज की बस या कैब पकड़ लीजिए।
फ़्लाइट मार्ग- दिल्ली से पंतनगर की फ़्लाइट पकड़ लीजिए। किराया ₹3,500 तक होगा। वहाँ से 90 कि.मी. का रास्ता आपको कैब से पूरा करना होगा।
आप पहले कभी किसी कॉटेज में रहे हैं? अगर हाँ तो अपना अनुभव हमारे साथ कमेंट बॉक्स में साझा ज़रूर करें।
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