बिहार इतना खूबसूरत है कि आपको इससे मुहब्बत हो जाएगी। हो सकता है कि आप इस पर विश्वास न करें क्योंकि आपने तो बिहार को टीवी और अखबार की नजर से देखेगा।
जिसमें बिहार को अपराध वाली जगह बताया जाता है। उनके बिहार में सिर्फ लूटपाट, डकैती, खूनखराबा और भुखमरी है। मेरे दोस्तों, बिहार में अपराध से इतर भी एक दुनिया है जिससे आपको प्यार हो जाएगा।
बिहार में बहुत सारी जगह हैं जिनको आपको देखना चाहिए। इनको देखने के बाद आपकी बिहार को लेकर धारणा बदल जाएगी।
उन्हीं खूबसूरत जगहों में से हम आपको एक बेहद सुंदर जगह के बारे में बता देते हैं, कैमूर पहाड़ी।
कैमूर बिहार का एक जिला है। जहाँ पर कई खूबसूरत और ऐतहासिक जगहें हैं। इसी जिले में खूबसूरत नजारों से भरी कैमूर की पहाड़ी है।
जहाँ कलकल बहती नदी है, आसमान जैसे ऊँचे झरने, मंदिर और ऐतहासिक किले हैं।
आप जब अपने कदमों से इस पहाड़ को नापेंगे तो आपको ये पल सबसे खूबसूरत लगेगा और बाकी सब कुछ फीका नजर आएगा।
जहाँ की लहराती हवा आपका मन खुश कर देगी और दूर तलक आसमां में डूबते सूरज को देखकर आप इस बिहार को अच्छे-से समझ लेंगे तो चलिए आज बिहार की खूबसूरत कैमूरी पहाड़ी की सैर पर चलते हैं।
कैमूर पहाड़ी
हम बिहार की जिस कैमूर पहाड़ी की बात कर रहे हैं वो विध्या रेंज का पूर्वी हिस्सा है। ये पहाड़ी लगभग 483 किमी. में फैली है। ये मध्य प्रदेश के जबलपुर से लेकर बिहार में रोहतास और सासाराम तक है। इसके अलावा उत्तर प्रदेश के मिर्जापुर को भी छूती है। सासाराम से कैमूर की दूरी 72 किमी. है और गया से कैमूर लगभग 200 किमी. दूर है।
Tripoto हिंदी के इंस्टाग्राम से जुड़ें
क्या देखें?
कैमूर बिहार के लिए किसी कुदरत के करिश्मे से कम नहीं है। यहाँ पर देखने के लिए बहुत कुछ हैै कैमूर को देखने के लिए आपको लंबा वक्त निकालना पड़ेगा। कैमूर बिहार के सिर का ताज है तो चलिए इसी करिश्मे की कुछ जगहों को जानते हैं।
1- रोहतासगढ़ किला
कैमूर की पहाड़ी पर स्थित रोहतासगढ़ किला बिहार के सबसे खूबसूरत नगीनों में से एक है। पहाड़ों के बीचों-बीच बना ये किला इस जगह की खूबसूरती में चार चांद लगा देता है। कहा जाता है कि इस किले को राजा हरिश्चन्द्र के बेटे रोहिताश्रव ने बनवाया था। बाद में इसका बेहतर तरीके से निर्माणा राजा मानसिंह ने करवाया। रोहतास शहर से 40 किमी. दूर कैमूर की पहाड़ी पर स्थित इस किलो हर किसी को देखना चाहिए। यकीन मानिए जब आप यहाँ आएंगे तो आपका दिल खुश हो उठेगा।
2- चौरासन मंदिर
इसी खूबसूरत कैमूर पहाड़ी के बीच एक मंदिर भी है, चौरासन मंदिर। 84 सीढ़ियों को चढ़कर जब आप इस मंदिर में पहुंचेंगे तो आपको मंत्रमुग्ध हो जाएंगे। वादियों के बीच इस मंदिर की घंट की आवाज आपको अच्छी लगेगी। रोहतासगढ़ से चौरासन मंदिर 6 किमी. की दूरी पर है। इस मंदिर का आर्किटेक्चर भी बेहद खूबसूरत है। कहा जाता है कि राजा हरिश्चन्द्र ने संतान की प्राप्ति के लिए इस मंदिर को बनवाया था। अगर आप शहर की बिजी जिंदगी से कुछ वक्त के लिए शांति और सुकून चाहते हैं तो कैमूर पहाड़ी में स्थित चौरासन मंदिर आपका ही इंतजार कर रहा है।
3- तेल्हर कुंड फॉल
कैमूर अपने ऊँचे-ऊँचे पहाड़ों के लिए जाना जाता है। इन्हीं पहाड़ों और खूबसूरत जंगलों के बीच तेल्हर कुंड वाटरफॉल है। ये वाटरफॉल कैमूर पहाड़ी के सबसे खूबसूरत झरनों में से एक है। ये वाटरफॉल भभुआ से लगभग 32 किमी. की दूरी पर है। इस वाटरफॉल को देखने कम ही लोग आते हैं क्योंकि ये घने जंगलों के बीच है। वाटरफॉल के चारों तरफ पहाड़ और जंगल हैं जो बेहद खूबसूरत है। बिहार की कैमूर पहाड़ी जाएं तो तेल्हर कुंड वाटरफॉल जरूर देखें।
4- मां मुंडेश्वरी मंदिर
कैमूर अपनी खूबसूरती के लिए तो जाना ही जाता है इसके अलावा यहाँ पर कई मंदिर है। जिनमें से मां मुंडेश्वरी मंदिर एक ऐतहासिक प्राचीन मंदिर है। इस मंदिर को सातवीं सदी में राजा उदयसेन ने बनवाया था। ये देवी पार्वती का मंदिर है। इसके अलावा इसमें भगवान शिव और गणेश की भी मूर्ति है। इस मंदिर में रक्तहीन बलि की प्रथा है। इस मंदिर को आर्कोलॉजी सर्वे ऑफ इंडिया ने संरक्षित किया है। आपको एक बार जरूर कैमूर के मां मुंडेश्वरी मंदिर जाना चाहिए।
5- शेरगढ़ किला
कैमूर पहाड़ी में शानदार नजारों से भरा रोहतासगढ़ किला तो है ही इसके अलावा एक और किला है जिसे आपको जरूर देखना चाहिए। कैमूर पहाड़ी पर स्थित शेरगढ़ किले को शेरशाह सूरी ने बनवाया था। ये किला अपनी बनावट के लिए जाना जाता है। इस किले को पहाड़़ी के अंदर बनाया गया था। इस किले में राजा अपने परिवार और सैनिकों के साथ रहते थे। मुगलों ने उनके परिवार और सैनिकों को किले में ही मार दिया था। किले के सबसे अंतिम छोर से आपको कैमूर की खूबसूरती देखने को मिलेगी।
6- दुर्गावती नदी
कैमूर पहाड़ी अपने खूबसूरत और मनमोहक नजारों के लिए जाना जाता है। इसी कैमूर पहाड़ी की खूबसूरती में चार चांद लगाती है दुर्गावती नदी। कैमूर पहाड़ी में तमाम झीलें और वाटरफाॅ हैं जो दुर्गावती नदी का हिस्सा हैं। शेरगढ़ किले के पास से बहती दुर्गावती नदी इस जगह को खूबसूरत बना देती है। दुर्गावती नदी खुखमा पहाड़ी से निकलती है जो आगे चलकर कैमूर पहाड़ी से होकर कर्मनाशा नदी में मिल जाती है। दुर्गावती नदी को दुर्गाती भी कहते हैं। कैमूर पहाड़ी आएं तो इस नदी के किनारे कुछ फुरसत के पल जरूर बिताएं।
कब जाएं?
कैमूर पहाड़ी अपने घने जंगलों और पहाड़ों के लिए जाना जाता है। कैमूर पहाड़ी की इन जगहों को बरसात के बाद का समय सबसे बेस्ट है। इसके अलावा आप सर्दियों में भी कैमूर जा सकते हैं। अगर आप कैमूर जाने का प्लान बना रहे हैं तो अगस्त से सितंबर और दिसंबर से जनवरी के बीच में जाएं।
कैसे पहुँचे?
ट्रेन सेः अगर आप कैमूर ट्रेन से जाना चाहते हैं तो सबसे नजदीकी भभुआ रेलवे स्टेशन है। भभुआ से कैमूर सिर्फ 10 किमी. की दूरी पर है। आप टैक्सी बुक करके भभुआ से कैमूर पहुँच सकते हैं।
फ्लाइट सेः अगर आप फ्लाइट से कैमूर जाना चाहते हैं तो सबसे नजदीकी एयरपोर्ट पटना है। पटना से कैमूर लगभग 184 किमी. है। आप पटना से टैक्सी या बस से कैमूर पहुँच सकते हैं।
रोड सेः अगर आप खुद की गाड़ी से कैमूर आ रहे हैं तो नेशनल हाइवे से आने में कोई दिक्कत नहीं होगी। इसके अलावा बिहार के किसी भी शहर से बस लेकर कैमूर पहुँच सकते हैं।
क्या आपने कभी बिहार की किसी जगह की यात्रा की है? अपने अनुभव को शेयर करने के लिए यहाँ क्लिक करें।
बांग्ला और गुजराती में सफ़रनामे पढ़ने और साझा करने के लिए Tripoto বাংলা और Tripoto ગુજરાતી फॉलो करें
Tripoto हिंदी के इंस्टाग्राम से जुड़ें और फ़ीचर होने का मौक़ा पाएँ।