भारत के सुदूर दक्षिण में स्थित राज्य केरल प्राकृतिक सुंदरता के मामले में अपनी एक अलग पहचान रखता है। अपने मनमोहक प्राकृतिक दर्शनीय स्थलों के चलते केरल विदेशों से भारत आने वाले अधिकतर सैलानियों की हमेशा से पहली पसंद रहा है। यहां की हरियाली यहां आने वाले पर्यटकों के मन को हर लेती है। सच कहें तो यहां घूमने आने वाला यहां के मनोरम दृश्यों में गुम हो जाता है। बात जब ट्रैवलिंग की आती है तो अक्सर हम भारत से बाहर किसी दूसरे देश घूमने निकल जाने के बारे में सोचने लगते हैं। इसका कारण अपने देश के ही एक बेहद खूबसूरत राज्य केरल की खूबसूरती से ज्यादातर लोगों का अनजान रहना है। क्योंकि अगर आप केरल के चुनिंदा दर्शनीय स्थल के बारे में भी जान लेंगे तो यकीन मानिए अगली छुट्टियों में विदेश जाने की बजाय केरल घूम आएंगे।
तो चलिए जानते हैं केरल में मौजूद ऐसी 10 खूबसूरत जगहों के बारे में जिसे जानने के बाद आप उन जगहों पर जाने के लिए आतुर हो जाएंगे।
1) अलेप्पी(Alleppey)
भारत के दक्षिण में स्थित केरल राज्य के अलेप्पी को पूरब का वेनिस कहा जाता है। इसका मतलब जितना खूबसूरत वेनिस है उतना ही खूबसूरत है हमारा अलेप्पी। अगर आपको अपने फुरसत के पल रोमांच भर देने वाले नजारों को देखकर बिताने हैं तो जीवन का कुछ समय यहां बिताना तो बनता ही है। यहां की नहरों और पाम के पेड़ों के बीच स्थित सुंदर जलभराव और हरियाली रोमांच को जागृत कर आपको कल्पनाओं के नए आयाम में पहुंचा देती हैं। अलेप्पी का समुद्रतट, यहां की झीलें और प्रख्यात हाउसबोट आपकी छुट्टियों को हमेशा के लिए यादगार बना देंगे। समुद्र तट के अलावा अलेप्पी में अंबालापुक्षा श्री कृष्ण मंदिर, कृष्णापुरम पैलेस, मरारी समुद्र तट, अरथुंकल चर्च आदि पर्यटन स्थल भी हैं जिनपर वक्त खर्च कर ढेर सारे मोमेंट क्रिएट किए जा सकते हैं।
2) मुन्नार(Munnar)
मुन्नार नाम का अर्थ होता है तीन नदियां। यह मधुरपुजहा, नल्लाथन्नी और कुंडाली नदियों के अजीब मिलन स्थल वाले क्षेत्र को प्रदर्शित करता है। मुन्नार केरल के सबसे खूबसूरत हिल स्टेशनों में से एक है या फिर कहे प्रमुख है। घुमावदार पहाड़ और उन पहाड़ों से दूर-दूर तक सिर्फ और सिर्फ नजर आते चाय के बागान का नजारा मन को मोह लेता है। मुन्नार की बेजोड़ खूबसूरती के चलते हर साल यहां देश-विदेश से लाखों सैलानी घूमने आते हैं। यहां का मौसम हमेशा सर्द रहता है। यहां के हवा की ठंडक पर्यटकों के शारीरिक और मानसिक दोनों ही थकावटों को हर लेती है। इसके अलावा पल्लीवसल और चिन्नाकनाल यहां के दो ऐसे झरने हैं जिन्हे देखने की मांग सबसे ज्यादा होती है। एराविकुलम राष्ट्रीय उद्यान मुन्नार के मुख्य आकर्षण स्थलों में से एक है। और सबसे खास बात दक्षिण भारत की सबसे ऊंची चोटी- अनामुडी पीक इस नेशनल पार्क के अंदर ही स्थित है।
3) थेक्कडी(Thekkady)
केरल और तमिलनाडु की सीमा पर स्थित यह इलाका मुख्य रूप से पेरियार वन्य जीवन अभ्यारण्य के लिए बेहद लोकप्रिय है। ट्रैकर्स, प्रकृति प्रेमियों, वन्य जीव प्रेमियों, साहसियों, पिकनिक मनाने वालों के लिए केरल का थेककडी धरती पर स्वर्ग के समान है। इस क्षेत्र में लंबी पैदल यात्रा, वन्य जीवन ट्रेन, रॉक क्लाइम्बिंग और बांस राफ्टिंग जैसी मनोरंजन गतिविधियां सैलानियों को आकर्षित करती हैं। इतना ही नहीं तो फोटोग्राफी के शौकीन लोगों के लिए यह जगह अपनी कला को निखारने के लिए ढेर सारे नजारें देती है। शांत जलवायु वाले इस इलाके का ख्याल अगली बार कहीं घूमने का ख्याल आए जो जरूर रखिएगा।
4) कोवलम(Kovalam)
केरल की राजधानी तिरुअनंतपुरम से महज 16 किलोमीटर दूर समुद्री तट कोवलम अपने किनारों में खूबसूरती को करीने से संजोए हुए है। 'कोवलम' मलयालम भाषा से लिया गया एक शब्द है जिसका मतलब है 'नारियल के पेड़ों का झाड़-झंखाड़ की तरह उगना।' इसक कारण यह है कि इस इलाके में नारियल के पेड़ आपको जहां-तहां बहुतायत संख्या में दिख जाएंगे। जिस तरह कश्मीर को धरती का स्वर्ग कहा जाता है। उसी तर्ज पर कोवलम को दक्षिण भारत का स्वर्ग कहकर बुलाया जाता है। किसी स्थल को स्वर्ग की उपाधि मिलना ही उसकी अथाह खूबसूरती के बारे में सब कुछ बता देता देने के लिए काफी होता है। कोवलम में तीन मुख्य बीच हैं; लाइटहाउस बीच, हवाह बीच और समुद्र बीच। इनमें लाइटहाउस बीच सबसे बड़ा बीच है। हवाह बीच भारत का पहला और अकेला टॉपलेस बीच था, हालाँकि इस बीच पर बिना कपड़ों के सन बाथिंग पर प्रतिबंध लग चुका है।
5) कुमारकोम(Kumarakom)
कोट्टयम जिले से लगभग 16 किमी दूर स्थित कुमारकोम अपने जलाशयी पर्यटन के कारण दुनिया भर में प्रसिद्ध है। केरल की सबसे बड़ी ताजे पानी की झील- वेम्बानाड झील के तट पर बसा कुमारकोम अपने प्राचीन और मोहक सुंदरता से दुनिया भर के पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करता है। कुमारकोम में केरल के सबसे प्रसिद्ध पक्षी अभ्यारण्य होने के कारण पक्षियों के प्रति लगाव रखने वालों के लिए भी यह एक आदर्श स्थान है। यह क्षेत्र समुद्री मछली की प्रजातियों के लिए भी जाना जाता है। इनमें से सबसे प्रमुख पर्ल स्पॉट है जिसे लोकप्रिय रूप में करीमीन के नाम से जाना जाता है। इन सबके अलावा यहां के प्रमुख मंदिरों और चर्चों में थिरूनक्कारा महादेव मंदिर, एट्टुमान्नूर महादेव मंदिर, चेरियापल्ली का सैंट मेरी चर्च, अथिरामपुझा का सैंट मेरी चर्च और वाईकॉम महादेव मंदिर का नाम शामिल है।
6) वायनाड(Wayanad)
एक स्थानीय किंवदंती के अनुसार इस स्थान का नाम दो शब्दों से उत्पन्न हुआ है, ‘वायल’ और ‘नाद’। जब इन दोनों शब्दों को जोड़ा जाता है तो इसका अर्थ होता है ‘धान के खेतों की भूमि’। पुरातात्विक खोजों से यह पता चलता है कि वायनाड तीन हजार वर्ष पहले भी अस्तित्व में था। जंगलों में वन्य और मानव जीवन शांतिपूर्ण सद्भाव के साथ मौजूद था। यह स्थान सुंदर दृश्यों का, खूबसूरत पहाड़ी ढलानों का, उप उष्णकटिबंधीय सवाना का, खुशबूदार वनस्पतियों का, घने जंगलों का और एक समृद्ध सांस्कृतिक इतिहास का दावा करता है। हालांकि, जंगलों के मध्य कई शानदार रिसॉर्ट्स हैं जो कि आयुर्वेदिक मालिश एवं आरामदायक स्पा की सेवाएं प्रदान करते हैं, जिनमें थके हुए पर्यटक अपने मन और शरीर को तारोताज़ा कर सकते हैं। दूसरे शब्दों में कहें तो यह स्थान प्राचीनता और आधुनिकता का अद्भुत संगम है।
7) वागामोन(Vagamon)
इडुक्की-कोट्टयम सीमा पर स्थित वागामोन केरल का दर्शनीय पर्वतीय स्थल है। यहां दूर-दूर तक फैले घास के मैदान आपकी नजरों को कैद कर लेते हैं। अपने खूबसूरत उद्यानों, डेल्स, चाय बागानों और घाटियों के लिए प्रसिद्ध वागामोन छुट्टियां मनाने के लिए एक केरल के सबसे बेहतरीन जगहों में से एक है। यहां स्थित पहाड़ियों की एक श्रृंखला में थांगल हिल, मुरुगन हिल और कुरुसमुला बेहद खास है। इसकी खूबसूरती हर साल अपनी तरफ बेहिसाब पर्यटकों को खिंच लाती है। समुद्र की सतह से 1000 मीटर ऊपर स्थित इस पर्यटन स्थल का मौसम साल के बारहों महीने खुशनुमा रहता है। यह भी एक खास वजह है लोगों के इस स्थल कीओर इतना ज्यादा आकर्षित होने की। जीवन में कम से कम एक बार अपनी आँखों में वागामोन के नजारों को कैद करना तो बनता है।
8) बेकेल(Bekal)
केरल के कासरगोड जिले में स्थित बेकेल नामक यह जगह प्रकृति की उत्कृष्ट रचना का बेजोड़ नमूना है। इसकी सुंदरता ऐसी है कि एक बार जहां नजर पड़ी फिर वह काफी देर तक वहीं अटकी पड़ी रह जाती है। अरब सागर के किनारे बना बेक्कल किला केरल के सभी लोकप्रिय पर्यटन स्थलों में प्रमुख है। ये केरल का सबसे संरक्षित किला है। विशाल किहोल के आकार के इस किले का समुद्र तट पर बना होना तो इसकी खूबसूरती में चार चांद लगाता ही है- इसके अलावा प्रवेश द्वार पर स्थित अंजनेय मंदिर एक और आकर्षण का केंद्र है। यह जगह सिर्फ आम लोगों को ही नहीं तो सिनेमा से जुड़े लोगों को भी खूब लुभाती है। दक्षिण फिल्म उद्योग से जुड़े फिल्म निर्देशक अपनी फिल्मो में अक्सर इस स्थान को प्रमुखता से जगह देते हैं। यहां साउथ की कई फिल्मों की शूटिंग हुई है।
9) कोजीकोडे(Kozhikode)
कालीकट के नाम से जाना जाने वाला कोजीकोडे अपनी ऐतिहासिक, सांस्कृतिक और शैक्षणिक श्रेष्ठता के लिए प्रसिद्ध है। अतीत में कालीकट पूर्वी केरल और बाकी दुनिया के बीच का मुख्य व्यापारिक केंद्र था। कालीकट ही वह ऐतिहासिक समुद्री तट है जहां वास्को डी गामा मसालों और अन्य व्यापार योग्य वस्तुओं की खोज में पहली बार भारत आया था। अतीत के इस इतने महत्वपूर्ण इस इलाके का नाम आज केरल के प्रमुख बिजनेस शहरों में शुमार है। कालीकट का मालाबार फूड सिर्फ भारत ही नहीं वरन दुनियाभर में प्रसिद्द है। इसके अलावा दम बिरयानी, कलममाकाया और चट्टी पथरी जैसे कुछ व्यंजन भी यहां के लोगों द्वारा मजेदार तरीके से बनाए और पर्यटकों द्वारा स्वाद लेकर खाए जाते हैं। अगर आप घूमने के साथ-साथ खाने के भी उतने ही शौकीन हैं तो सोचने में अब और ज्यादा वक्त मत बर्बाद कीजिए और कोजीकोडे के लिए निकल जाइए।
10) वर्कला(Varkala)
केरल की राजधानी तिरुवनंतपुरम से 51 मील दूर स्थित वर्कला अपने प्राकृतिक सौंदर्यता के चलते एक बेहद लोक लुभावन जगह है। वर्कला का समुद्री किनारा केरल के सबसे खूबसूरत समुद्री किनारों में से एक है। यहां के समुद्री बीच पर होने वाले सन बाथ, नाव की सवारी, सर्फिंग और आयुर्वेदिक मालिश लोगों द्वारा बेहद पसंद किए जाते है और उन्हें यहां लाने में महत्वपूर्ण भूमिका भी निभाते हैं। खूबसूरत समुद्रतट के अलावा जनार्दन मंदिर, शिवगिरी मठ और कपील झील जैसे स्थान भी यहां आने वाले पर्यटकों का ध्यान अपनी तरफ खींचते है। जो लोग कोवलम बीच के बेहद ज्यादा भीड़भाड़ की बजाय शांत और कम भीड़भाड़ वाले बीच पर वक्त गुजरना पसंद करते है उनके लिए वर्कला का समुद्री तट स्वर्ग है।
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