कहीं तो दिल है पहाड़ों में, थोड़ा सा कहीं है किनारों में। लकी अली की इस धुन पर लगभग हर घुमक्कड़ का दिल झूम उठता है। और जब बात घुमक्कड़ी की आती है मन में सबसे पहला खयाल आता है पहाड़। और पहाड़ भी हिमाचल के पहाड़। शिमला, कुल्लू ,मनाली जैसे बहुचर्चित लोकप्रिय स्थानों से लेकर ऑफ बीट जगह जैसे जिभी, तिर्थन सबको समाए हुए हिमाचल के पहाड़ ही तो हैं जहां हर घुमक्कड़ का दिल एक बार जाने के लिए मचल उठता है। हालांकि कोरोना महामारी के चलते देश के सभी राज्यों की तरह हिमाचल प्रदेश सरकार ने भी राज्य में पर्यटन पर रोक लगा दी थी। जिस राज्य का दो तिहाई हिस्सा पर्यटन पर निर्भर है उसके लिए पर्यटन विभाग का वापस से पटरी पर आ जाना किसी सपने से कम नहीं है।
शनिवार को हिमाचल प्रदेश सरकार ने राज्य के दरवाज़े सभी पर्यटकों के लिए खोल दिए हैं। अब कोई भी बिना ई - परमिट के राज्य में प्रवेश कर सकता है। हालांकि प्रवेश के 48 घंटों के भीतर उन्हें हिमाचल प्रदेश सरकार के कोविड ई - पोर्टल पर अपने आने की जानकारी देनी होगी और रजिस्ट्रेशन करवाना होगा।
इन बातों का रखना होगा ख्याल :
1. होटल में पांच दिन की बुकिंग अनिवार्य होगी।
2. आने के 72 घंटे के पहले कोविड - 19 की नेगेटिव रिपोर्ट जरूरी होगी।
3. यदि आप रेड ज़ोन से हिमाचल में प्रवेश कर रहे हैं आपको 14 दिन का होम क्वारांटाइन होना होगा।
क्या है सच्चाई?
हिमाचल सरकार का यह फैसला केंद्र सरकार के लिए चिंता का विषय बन गया है। जहां तक प्राइवेट होटलों को खोलने की बात है, लोग त्यार नहीं हैं। हिमाचल परिवहन की इंटर स्टेट बसें जो कि पहाड़ों में आने जाने का सबसे कारगर उपाय हैं, अब तक स्थगित हैं। व्यापार की नजर से देखा जाए तो व्यापारियों ने इस फैसले का स्वागत किया है। उन्हें उम्मीद है सरकार के इस फैसले से उनका काम वापस से शुरू हो पाएगा। लोकल एडमिनिस्ट्रेशन ने अब तक इस फैसले पर कोई राय नहीं दी है।